हाजीपुरः मेला, वह भी भूतों का. ऐसा मेला, जिसे देखकर आपके रौंगटे खड़े हो जाएंगे. श्मसान में हो रही भूतखेली को देख कर आपकी रूह सिहर जायेगी. काली रात में मानर बजा कर महिला और पुरुष दोनों तांत्रिक अजीबो-गरीब हरकत दिख जाएंगे, कोई नाचता हुआ नजर आएगा कोई झूमता. महिलाएं अपने बालों को बिखेरकर-झुमाकर अजीबो-गरीब माहौल तैयार कर देती हैं. और तो और उनके साथ आए तांत्रिक अपने मंत्रोचार से माहौल को और भी भयानक बना देते हैं. क्या आपने ऐसे किसी मेले की कल्पना की है? अभी आपने जो पढ़ा, उसका एक-एक शब्द सच है और ये सच्चाई बहुत भयानक है. प्रत्येक वर्ष हाजीपुर के ऐतिहासिक कौनहारा घाट पर भूतों का मेला लगता है. सैकड़ों तांत्रिक तंत्र मंत्र सिद्धि और बीमार महिला पुरुष के अंदर का भूत-प्रेत झाड़ने आते हैं. जगह जगह भूत प्रेत धार ने का खेल चलता रहता है, तंत्र सिद्धि करने आए लोगों को कहना है कि जिसमें देवता नजर आते उनके आदेश पर ही वो तंत्र साधना करते हैं.
कुछ तथाकथित तांत्रिक महिलाओं को तंत्र साधना के नाम पर शारीरिक रूप से प्रताड़ित करते हैं, उन्हें बालों से खींचते हैं, उनकी पिटाई करते हैं और पूछे जाने पर भूत प्रेत शरीर से निकालने की बात करते हैं, जो महिलाएं तथाकथित तांत्रिकों से प्रताड़ित होती है उन्हें तो कष्ट होता ही है जो लोग इस प्रकार के तमाशा को देखने वाले संवेदनशील लोगो को भी महिलाओं के साथ होने वाला दुर्व्यवहार और प्रताड़ना दुखी करता है.
प्रतेक वर्ष कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर हाजीपुर के कौनहारा घाट पर भूतखेली का यह मेला इसी प्रकार लगता है. स्थानीय मठ मंदिरो के पुजारीयों कहना है की भूत खेली के आड़ में महिलाओं को शारीरिक मानसिक और आर्थिक तरीके से प्रताड़ित तो किया ही जाता है उनके साथ कभी-कभी छेड़खानी भी जाती है, हम लोग देखते हैं तो वैसे तांत्रिकों को भगा देते हैं मगर यह रुकने का नाम ही नहीं ले रहा है. कुछ लोगों का यह भी कहना है कि आज जब दुनिया चांद से भी आगे पहुंच चुकी है, विज्ञान तरक्की कर चुका है, मगर हमारे गांव के रहने वाले वाले भाले लोग अभी अंधविश्वास जाल में फंस जाते हैं.
कबीर मठ के महंत अर्जुन दास ने बताया की इस बाजार की महिलाओं को प्रताड़ित किया जाता है वह भी भीड़ भाड़ वाले इलाके में, और सभी के सामने. सभी लोग मूक दर्शक बनकर देखते रहते हैं.