देहरादून: दिवाली के दिन उत्तरकाशी की निर्माणाधीन सुरंग में हुए हादसे में फंसे 41 श्रमिकों को अभी तक बाहर नहीं निकाला जा सका है। रेस्क्यू का आज आठवां दिन है। उत्तरकाशी के सिलक्यारा में निर्माणाधीन सुरंग धंसने के बाद से करीब 41 मजदूर उसमें फंसे हुए हैं। इन मजदूरों को पिछले 8 दिनों से रेस्क्यू करने का प्रयास किया जा रहा है, लेकिन अबतक इसमें सफलता नहीं मिली है। एक तरफ जहां 41 मजदूरों जीवन और मौत के बीच जंग लड़ रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ उन्हें रेस्क्यू करने के कई प्रयास असफल हो चुके हैं।
उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में सुरंग में फंसे लोगों को पाइप लाइन के माध्यम से भोजन पहुंचाया जा रहा है।।#TunnelCollapse #UttarakhandTunnelpic.twitter.com/d8z2gIhfhk
— Harish Mali (@HarishMali06) November 16, 2023
एक खबर के मुताबिक टनल में फंसे मजदूरों को निकालने के लिए दिल्ली से लाई गई ऑगर मशीन ने 17 नवंबर को काम करना बंद कर दिया। इसके बाद इंदौर से एक नई मशीन मंगाई गई जिसे अब सुरंग के भीतर 200 मीटर अंदर तक ले जाया जा रहा है। अब मलबे में सामने के बजाय ऊपर से ड्रिलिंग किया जाएगा, ताकि मलबे को आसानी से हटाया जा सके। बता दें कि 19 नवंबर को सिलक्यारा टनल के अंदर का एक वीडियो आया है। इस वीडियो के मुताबिक टनल में खाने की सामग्री पहुंचाने के लिए 6 इंच का पाइप डाल दिया गया है। इस पाइप के जरिए अंदर फंसे मजदूरों के लिए जरूरत के सामान भेजा जा रहा है।
#WATCH | Uttarkashi (Uttarakhand) tunnel rescue operation: Union Minister Nitin Gadkari and Uttarakhand CM Pushkar Singh Dhami arrive at the site of Uttarkashi tunnel collapse to conduct an on-site inspection of the ongoing relief and rescue work.
A part of the Silkyara tunnel… pic.twitter.com/D9croHlkRm
— ANI (@ANI) November 19, 2023
मलबे फंसे मजदूरों पर क्या बोले पुष्कर सिंह धामी
इस रेस्क्यू ऑपरेशन पर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि हम उपलब्ध सभी संभावनओं पर काम कर रहे हैं। सभी प्रकार की विशेषज्ञ टीमें यहां काम कर रही हैं। पीएम मोदी की निगरानी में हम लगातार काम कर रहे हैं। सभी की जान हमें बचाना है। हमारी पहली प्राथमिकता यही है। इसके लिए राज्य सरकार की सभी एजेंसियां हर संभव मदद देने को तैयार हैं। उन्होंने कहा, ‘मैं भगवान से प्रार्थना करूंगा कि जल्द से जल्द उन्हें बचाया जाए, क्योंकि हर गुजरते दिन के साथ उनकी परेशानी बढ़ती जा रही है।’ बता दें कि केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी हालात का जायजा लेने के लिए वहां पहुंच चुके हैं।
#WATCH | Dehradun: On Uttarkashi tunnel rescue, Uttarakhand CM Pushkar Singh Dhami says, "We are working on all the possibilities available. All types of expert teams are working here… Under the monitoring of PM Modi, we are continuously working. Saving everyone's life is our… pic.twitter.com/Rn5MnqO7Jx
— ANI (@ANI) November 19, 2023
पीएमओ के अधिकारी का दौरा
बता दें कि अबतक टनल के अंदर 70 मीटर में फैले मलबे में 24 मीटर छेद किया जा चुका है जो कि आधा भी नहीं है। न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक सुरंग के अदंर फंसे 41 मजदूरों को सुरक्षित निकालने के लिए अब सुरंग के दाएं व बाएं हिस्से में इस्केप टनल बनाया जाएगा और सुरंग के ऊपर की पहाड़ी से वर्टिकल ड्रिलिंग की जाएगी। इसके लिए पहाड़ियों को चिन्हित किया गया है। वहीं सुरंग के दाएं-बाएं हिस्से से टनल बनाने का काम शुरू हो गया है। बता दें कि 18 नवंबर को पीएमओ के उपसचिव मगेश घिल्डियाल और प्रधानमंत्री के पूर्व सलाहकार और उत्तराखंड सरकार के विशेष कार्याधिकारी भास्कर खुल्बे ने भी घटनास्थल का दौरा किया था।
177 मीटर ड्रिलिंग
राष्ट्रीय राजमार्ग और बुनियादी ढांचा विकास निगम लि. के निदेशक अंशु मनीष खलखो ने बताया कि ऊपर से ड्रिलिंग के लिए हुए वैज्ञानिक सर्वे के तहत करीब 103 मीटर चौड़ाई वाले क्षेत्र में ड्रिलिंग की जाएगी।
वहीं, निगम के अधिशासी निदेशक संदीप सुगेरा ने बताया कि सुरंग के ऊपर से वर्टिकल ड्रिलिंग के साथ साइड से भी ड्रिलिंग की योजना है। इसमें ऊपर 103 मीटर की चौड़ाई और साइड से ड्रिलिंग के लिए 177 मीटर की दूरी मिली है। ऊपर से ड्रिल कर मजदूरों तक खाना व पानी पहुंचाया जाएगा। जबकि साइड से उन्हें बाहर निकाल लिया जाएगा।